कर्मचारियों का तनाव एवं मनोदशा ठीक करने हेतु गतिविधि
जिला बलौदाबाजार-भाटापारा कलेक्टर श्री दीपक सोनी के निर्देशन में आयोजित मनोचिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा कर्मचारियों का तनाव एवं मनोदशा को ठीक करने के लिए कराये गये गतिविधियों की विस्तृत जानकारी:-
1.कार्यक्रम का विवरण फॉक्स एक्टिविटी गेम-फॉक्स एक्टिविटी के माध्यम से सभी को एक खेल खिलाया गया जिसमें सभी लोगों का ध्यान एकत्रित करने और कार्यक्रम में रुचि पैदा करने के लिए किया जाता है।
2.पूर्व मूल्यांकन जांच- इस पर उपस्थित सभी प्रतिभागियों के लिए तनाव मूल्यांकन स्केल का उपयोग किया जाता है जिसके माध्यम से संस्था में कार्यरत अधिकारी कर्मचारियो का वर्कप्लेस के स्तर पर और पारिवारिक स्तर पर किस प्रकार का तनाव महसूस करते हैं और तनाव का स्तर क्या है इस मूल्यांकन के बाद आगे का कार्यक्रम निर्धारित किया जाता है।
3.पूर्व मूल्यांकन गतिविधि-इसमें प्रतिभागियों को तनाव सम्बंधित सम्पूर्ण जानकारी बताई जाती है।अलग-अलग समूह में प्रतिभागियों को बांटने के बाद चार्ट पेपर के माध्यम से वर्तमान में वर्कप्लेस में जो भी तनाव का माहौल है उनको लिखने के लिए बोला जाता है एक ग्रुप वर्कप्लेस लेवल में और दूसरा फैमिली लेवल में तनाव को चार्ट पेपर पर लिखते हैं इसके आधार पर आगे की गतिविधि तैयार की जाती है और तनाव प्रबंधन के बारे में जानकारी दिया जाता है।
4.संचार गतिविधि-तनाव को समझने और जानने के बाद तनाव के कारण को समझने के लिए वर्कप्लेस स्तर पर तनाव किस रूप में होता है जिसके लिए कम्युनिकेशन स्किल आधारित खेल कराया जाता है जिससे कि प्रतिभागियों को कम्युनिकेशन के इफैक्टिव न होने से तनाव कैसे उत्पन्न होती है इसकी जानकारी प्राप्त होती है।वर्कप्लेस में इफेक्टिव कम्युनिकेशन नही होने से बहुत ज्यादा तनाव रहता है जिसको समय रहते जानने से तनाव को प्रबन्ध किया जा सकता है।
5.मन परिपूर्णता और प्रेरणा-तनाव को समझना तनाव के कारण को जानने वर्कप्लेस और पारिवारिक स्तर पर प्रबंध करने के लिए माइंडफुलनेस एक्टिविटी कराई जाती है और मोटिवेशनल एवं सपोर्टिंव इंटरव्यू भी किया जाता है।
6.मानसिक तनाव से निपटना-शारीरिक गतिविधि का लगभग कोई भी रूप तनाव से राहत दिलाने वाला हो सकता है भले ही आप एथेलीट न हो या आपके शरीर का आकार ठीक न हो फिर भी व्यायाम तनाव से राहत दिलाने वाला हो सकता है।शारीरिक गतिविधि आपकी फील गुड एंडोर्फिन और अन्य प्राकृतिक तंत्रिका रसायनो को पंप कर सकती है।जो आपकी भलाई की भावना को बढ़ाती है।
7.स्वस्थ्य जीवन के उपाय-एक स्वस्थ जीवन की आदतों में सबसे जरूरी है योग, ध्यान, व्यायाम है क्योंकि बिना इसे किए आप अपने को स्वस्थ रखने में असमर्थ रहेंगे, सबसे पहले सुबह उठकर योग ,व्यायाम चलाना दौड़ने की जानकारी दी गई |
8.योग और इसके लाभ-
योग करने के कई फायदे हैं। योग हमारे शरीर की मांसपेशियों को अच्छा व्यायाम देता है, साथ ही यह हमारे मन और दिमाग को शांत रखने में भी मदद करता है। चिकित्सा अनुसंधान से पता चला है कि योग शारीरिक और मानसिक दोनों रूप से अच्छे स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करता है। यह तनाव से राहत देता है और भूख और पाचन को बढ़ाता है। इसके अलावा, योग दिमाग को शांत रखने में भी सहायक होता है।
योग के नियमित अभ्यास से व्यक्ति की शारीरिक और मानसिक स्थिति में सुधार होता है, जिससे जीवन में सकारात्मकता और संतुलन बना रहता है।
9.दिनचर्या और आयुर्वेदिक ऋतुचर्या-
दिनचर्या और आयुर्वेदिक ऋतुचर्या हमें मौसमी परिवर्तन के कारण होने वाली बीमारियों से लड़ने के लिए अपने शारीरिक शक्ति और मानसिक क्षमता का निर्माण करने में सक्षम बनाती हैं। इसके अलावा, यह हमारे शरीर में तीनों दोषों (वात, पित्त और कफ) को संतुलित रखने में मदद करती है, जिससे हम पूरे भारत में स्वस्थ और सक्रिय रह सकें।
10.मानसिक तनाव का प्रबंधन-तनाव और कठिनाई से निपटना जरूरी है ताकि अधिक सन्तुलित और स्वस्थ जीवन जिया जा सके जब तनाव का लक्षण महसूस हो तो किसी प्रकार की शारीरिक गतिविधि करना चाहिए।यहां तक कि थोड़ी सी सैर भी मूड को बेहतर बना सकती है।
11.सकारात्मक सोच-सकारात्मक सोच किसी भी व्यक्ति में अच्छे सिद्धांतों पर ध्यान केंद्रित करने का अभ्यास है|यह शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य पर बहुत बड़ा प्रभाव डाल सकता है|अपने विचारों के प्रति जागरूक रहकर,ध्यान का अभ्यास करके और दैनिक प्रतिज्ञान स्थापित करके अपने दिमाग को अधिक सकारात्मक सोचने के लिये प्रशिक्षित कर सकते हैं।सकारात्मक सोच के लिए कुछ महत्वपूर्ण बिंदु-1.हमेशा अच्छा सोचे2.देखने का नजरिया बदले3.हमेशा हँसते रहें4.व्यायाम करें5.ध्यान करें6.दूसरों को प्रोत्साहित करें7.सकारात्मक सोच वाली किताबें पढ़े।
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